पौड़ी गढ़वाल: उत्तराखंड में हर साल कोई ना कोई शादी चर्चा का विषय बनती रहती है। कभी कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज के बेटे की शादी तो कभी औली में हुई गुप्ता बंधुओं की शादी लेकिन इस बार ना किसी राजनेता के बेटे की शादी ना किसी कारोबारी के बेटे की शादी चर्चा में है। चर्चा में है तो एक किसान के बेटे कम्प्यूटर इंजीनियर रोहित नेगी की शादी। नेगी की शादी होने वाली है जिसमें पहाड़ी ब्यौला रोहित नेगी और ब्यौली वंदना बिष्ट 8 मई को विवाह के बंधन में बंधने जा रहे हैं। इस शादी में सबसे खास बात यह है कि जहां उत्तराखंड की शादियों में शराब परोसने का बोलबाला रहता है, वहीं ये शादी पूर्ण रूप से शराब मुक्त होगी।
रोहित नेगी के होने वाली इस शादी में किसी भी प्रकार के मांस-मंदिरा पर प्रतिबंधन रहेगा। साथ ही मैती रस्म(पौधा रोपण) भी की जाएगी। इसके साथ विवाह का ये कार्ड मातृभाषा गढ़वाली में छपा है जो कि लोगों को अपनी मातृभाषा के प्रति प्रेम और लुप्त होती गढ़वाली, कुमांउनी और जौनसारी को बचाने का संदेश दे रहा है।
पेशे से इंजीनियर रोहित की शादी का ये कार्ड बाकियों से अलग है।
कार्ड अपनी बोली गढ़वाली में हैं
शादी में शराब को ना।
मैती आंदोलन की।मैती रश्म
चकबन्दी का आह्वान
एक कंप्यूटर इंजीनियर की हो रही गाँव में शादी हमें हमारी परम्परा के तरफ़ लौटने का निमंत्रण दे रही है।
बधाई रोहित pic.twitter.com/AVwUtjrToZ— Ramesh Bhatt (@Rameshbhimtal) April 15, 2023
रोहित नेगी पेशे कम्प्यूटर इंजीनियर और समाजिक कार्यकर्ता हैं। वो लाखों की सैलरी महीने में लेते हैं। रोहित उत्तराखंड के विभिन्न आंदोलनो से जुड़े हुए हैं। जिसमें चकबंदी आंदोलन, मैती आंदोलन समेत कई उत्तराखंड के कई जनहित के मुद्दों पर अपनी मुखर आवाज़ रखते हैं। आपको बता दें रोहित नेगी का कार्ड इन दिनों सोशल मीडिया में भी काफी वायरल हो रहा है जहां हर तरफ लोगों द्वारा उनके गढ़वाली भाषा में कार्ड छपवाने और शराब न पिलाने के फैसले की सराहना की जा रही है।
इंजीनियर रोहित नेगी के कार्ड में पर्वत की पुकार के नाम से एक गीत भी छपा है।जिसमें उत्तराखंड के युवाओ को आह्वान किया गया है।इस गीत की रचना उत्तराखंड की लोकगीतकार एवं कवि नीता कुकरेती ने की है। रोहित नेगी ने आजाद प्रेस से बातचीत में कहा कि वो चकबंदी अभियान से जुड़े हैं और पहाड़ के दर्द का उन्हे बहुत से पता है।
पौड़ी के कांडा मल्ला के रोहित नेगी और किमगड़ी की वंदना की शादी का कार्ड सुर्खियों में है. गढ़वाली में निमंत्रण पत्र छापा गया है. ब्यौला और ब्यौलि मैती रस्म को भी अदा करेंगे. जिसके तहत वे पौधरोपण करेंगे. मैती एक भावनात्मक पर्यावरण आंदोलन है. जिसे कल्याण सिंह रावत ने शुरू किया था. pic.twitter.com/EBRNqeqX4Q
— KC SINGH (@Journalist__KC) April 15, 2023
उत्तराखंड में बढ़ते शराब के चलन के कारण युवा पीढ़ी का भविष्य नशे की गिरफ्त में जा रहा है। इसके साथ ही उन्होने आजाद प्रेस से कहा कि उत्तराखँड में बढ़ते शराब के चलन से लोगों के घर परिवार भी बर्बाद हो रहे हैं। उनकी शादी में मांस-मंदिरा का सेवन न होने के कारण कई लोग नाराज होंगे पर वो कहते हैं कि उससे उन्हे फर्क नहीं पड़ता। उन्होने का कि उन्हें अपनी शादी में शराब ना पिलाने संदेश देना पर्वतीय क्षेत्र के हित में सबसे उचित लगा। एक तरफ जहां उत्तराखंड की धामी सरकार शराब के दामों में छूठ देकर शराब का चलन बढाकर वाहवाही लुटने की कोशिश कर रही है वहीं रोहित नेगी जैसे युवा भी हैं जो समाज को शराब मुक्त होने का संदेश दे रहे हैं।